2024 भूलेख खतौनी उत्तर प्रदेश, उत्तरप्रदेश खसरा-खतौनी नक्शा देखना अब हुआ और भी आसान

आप सभी को यह तो पता ही है कि केंद्र सरकार डिजिटल इंडिया जैसा अभियान लेकर आयी है जिसके तहत सरकार लोगों को हर प्रकार की सुविधाओं और योजनाओं के आवेदन करने के लिए ऑनलाइन सुविधा प्रदान कर रही है। इसी तर्ज पर उत्तर प्रदेश सरकार ने भी उत्तर प्रदेश की ज़मीनों का भी पूरा अभिलेख ऑनलाइन यूपी भूलेख नामक एक आधिकारिक वेबसाइट पर अपलोड किया है। 

इस लेख में हम उत्तरप्रदेश भूलेख से जुड़ी सम्पूर्ण जानकारी आपको सरल भाषा में सविस्तार समझने का प्रयास करेंगे। इस लेख को अंत तक पढ़ें और जानें की UP भूलेख क्या है और इसमें आप अपनी भूमि से जुड़े अभिलेख यानी रिकार्ड्स कैसे आसानी से देख सकते हैं।   

भूलेख खतौनी उत्तर प्रदेश क्या है? | Bhulekh Uttar Pradesh Kya Hai?

उत्तर प्रदेश भूलेख खसरा खतौनी पोर्टल एक ऐसा पोर्टल है जहां आप अपने भूमि रिकॉर्ड की जांच कर सकते हैं। आप खसरा खतौनी पोर्टल उत्तर प्रदेश भूलेख पर भूमि के रिकॉर्ड की जांच आसानी से की जा सकती है।

यह वेबसाइट राज्य के नागरिकों के लिए भूमि का पूरा विवरण प्रदान करती है। इस सुविधा से उत्तर प्रदेश के सभी लोग लाभान्वित हो सकते हैं। यह लेख यूपी भूलेख नामांक ऑनलाइन पोर्टल (Website) के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी देता है, जिसमें इसका उद्देश्य, लाभ, सुविधाएँ, पात्रता और आवश्यक दस्तावेज शामिल हैं। 

भूमि रिकार्ड्स का कम्प्यूटरीकरण

केंद्र सरकार की ओर से डिजिटाइजेशन की प्रक्रिया चल रही है। इसे याद करते हुए, प्रक्रियाओं को आसान बनाने के लिए उत्तर प्रदेश राज्य सरकार ने भूलेख यूपी पोर्टल की शुरुआत की थी। इसी गेटवे के तहत पूरे यूपी भूलेख का कम्प्यूटरीकरण किया गया। 

यूपी भूलेख पोर्टल की शुरुआत साल 2016 2 मई की गयी थी। जिसे उत्तर प्रदेश की सभी तहसीलों में क्रियान्वित किया गया है। उत्तर प्रदेश की सभी तहसीलों के भूमि रिकार्ड्स की सम्पूर्ण जानकारी यूपी भूलेख गेटवे पर उपलब्ध है। इस पोर्टल के द्वारा भूमि रिकॉर्ड को प्रतिदिन सुव्यवस्थित और सभी के लिए उपलब्ध कराया जाता है। 

इस प्रवेश द्वार पर भूमि अभिलेखों की जानकारी, भूमि अभिलेखों के मालिक का डेटा, भूमि अभिलेखों का डेटा आदि दिखाई देना चाहिए। इस प्रवेश द्वार से रूपरेखा में भी सरलता आएगी और समय और धन की बचत भी होगी।

खसरा खतौनी व नक्शा उत्तर प्रदेश

उत्तर प्रदेश सरकार इस यूपी भूलेख पोर्टल के द्वारा राज्य के सभी नागरिकों के लिए भूमि से जुड़े संपूर्ण विवरण प्रदान करती है। राज्य के नागरिक अब बिना किसी सरकारी कार्यालय में आए अपनी जमीन से संबंधित पूरी जानकारी इस वेबसाइट से ले सकते हैं। 

उत्तर प्रदेश राज्य सरकार इस पोर्टल के ज़रिये भूमि का सम्पूर्ण रिकॉर्ड कम्प्यूटरीकृत करेगी, जिससे समय और धन दोनों की बचत होगी और व्यवस्था में पारदर्शिता सुनिश्चित होगी। यह पोर्टल भूमि अभिलेखों की दिन-प्रतिदिन की गतिविधियों को प्रबंधित करने का एक तरीका प्रदान करता है।

यह पोर्टल नागरिकों को स्वामित्व अधिकार जमा करने और खतौनी भूमि मानचित्र, खसरा, भूमि जमाबंदी, आदि से संबंधित जानकारी प्राप्त करने की भी अनुमति देगा। यह पोर्टल साल 2016 की दिनांक 2 मई से चालू है।

यूपी भूलेख के बारे में वो सब कुछ जो आपको जानना चाहिए

उत्तर प्रदेश भूलेख पोर्टल आपको पटवारी या तहसीलदार को देखने की समस्या से बचाने के लिए बनाया गया था जब भी आपको भूमि रिकॉर्ड की जांच करनी हो।

राज्य सरकार के डिजिटल डाटाबेस के अनुसार, उत्तर प्रदेश भूलेख वेबसाइट पर उपलब्ध भूमि अभिलेखों (रिकार्ड्स) में खाता (भूमि) की जानकारी, खतौनी ( गांव में किसी नागरिक या पूरे परिवार की होल्डिंग की लिस्ट) और खसरा संख्या (भूमि पार्सल पहचान संख्या) शामिल हैं। 

उत्तर प्रदेश राज्य के सभी जिले भूलेख यूपी 2016 में ऑनलाइन हो गए हैं और यह ऑनलाइन पोर्टल सभी तहसीलों में जमीन की जानकारी उपलब्ध कराता है। भूलेख यूपी अनिवार्य रूप से आपको भूमि के स्वामित्व पैटर्न चक्र के बारे में जानकारी देता है।

भूलेख उत्तर प्रदेश वेबसाइट में निम्नलिखित जानकारी मिल सकती है :भूमि स्वामी का नाम 

  • भूमि के कितने मालिक हैं?
  • भूमि आकार (यानि भूमि कितनी बड़ी है या कितने एकड़ की है)
  • फील्ड के खसरा और खाता नंबर विस्तार से दिए जाएंगे
  • संपत्ति का लेन-देन इतिहास, जिसमें गिरवी रखना, दावे (तीसरे पक्ष के) आदि भी शामिल हैं
  • विक्रेता द्वारा किया गया कोई भी भुगतान का रिकॉर्ड 
  • विक्रेता द्वारा भूमि पर किसी भी प्रकार के ऋण के भुगतान का रिकॉर्ड
  • नक्शा-खतौनी 
  • खसरा-खतौनी 

यह एक ऐसा ऑनलाइन पोर्टल है जो किसी को भी उत्तरप्रदेश राज्य में किसी भी भूमि के विशिष्ट विवरण को देखने की अनुमति देता है। पोर्टल, जो एक वेबसाइट है, राज्य सरकार द्वारा भूमि से संबंधित सभी कामों को कम्प्यूटरीकृत करने के लिए शुरू किया गया था जो औपचारिक रूप से कागज पर मैन्युअल रूप से किए जाते थे। 

यह यूपी खतौनी और अन्य भूमि की जानकारी के बारे में जानकारी के लिए खुलापन और पहुंच की अनुमति देता है।

उत्तरप्रदेश भूलेख के कॉम्पोनेन्ट | Components of Bhulekh UP In Hindi

खसरा संख्या

यह नंबर भूमि का विशिष्ट प्लॉट नंबर या सर्वे नंबर ही है जो उत्तर प्रदेश राज्य सरकार कृषि भूमि को आवंटित करती है। 

जमाबंदी/फर्द

इसमें भूमि से जुड़े महत्वपूर्ण रिकॉर्ड जैसे कि भूमि मालिक कौन है, कल्टीवेटर कौन है, भूमि का खसरा नंबर क्या है, भूमि का क्षेत्र, भूमि की फसल की जानकारी, पट्टे आदि की जानकारी शामिल होती है।

खतौनी नंबर

खतौनी नंबर एक प्रकार की संख्या होती है जो कल्टीवेटर के सेट को दी जाती है जो विभिन्न खसरा संख्याओं की भूमि के हिस्से पर खेती करता है।

खाता/खेवट नंबर

भूलेख खतौनी उत्तर प्रदेश एक ऐसी संख्या है जो भूमि स्वामियों के मालिक मिलती है जो बहुत से खसरा संख्या के ज़मीन का केवल एक हिस्सा ही होता है।

भूलेख खतौनी का मुख्य उद्देश्य | Objectives Of UP Bhulekh In Hindi

अमूमन सरकारी सभी योजनाओं का मुख्य उद्देश्य यही होता है की उस योजना से ज्यादा से ज्यादा नागरिकों का लाभ हो सके और नागरिकों को जो भी समस्या आ रही है उसका निदान हो। ऐसे ही UP भूलेख के उद्देश्य को हमने नीचे के सारे बिंदुओं में विस्तार से समझाया है, अंत तक ज़रूर पढ़ें। 

  • यह ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से भूमि अभिलेखों (रिकार्ड्स) को एक पोर्टल में व्यवस्थित करना और उसे ज्यादा पारदर्शी बनाना। 
  • नागरिकों को उनकी भूमि के रिकार्ड्स आसानी से एक ही पोर्टल में उपलब्ध करवाना जिसके माध्यम से उन्हें उनकी ज़मीन की सारी जानकारी मिल सके। 
  • नागरिकों को किसी भी तहसीलदार या पटवारी या अन्य किसी स्थान के चक्कर ना काटने पड़े और उन्हीं सभी जानकारी एक स्थान पर मिल सके। 

UP भूलेख के फायदे 

इस पोर्टल का सबसे बड़ा फायदा तो यही है की आप इस पोर्टल के माध्यम से अपनी भूमि के सभी रिकार्ड्स एक जगह पर देख सकते हैं, नीचे कुछ फायदे और पढ़ें। 

  1. कोई भी नागरिक अगर अपनी भूमि का नक्शा देखना चाहता है तो वह केवल अपनी भूमि का जमाबंदी नंबर और खसरा नंबर डालकर आसानी से देख सकते हैं। 
  2. उत्तरप्रदेश राज्य का कोई भी नागरिक आसानी से अपनी भूमि से जुड़ी सम्पूर्ण जानकारी इस पोर्टल के द्वारा प्राप्त कर सकता है। 
  3. तीसरा सबसे बड़ा फायदा यह भी है की अब किसी भी नागरिको को किसी भी तहसीलदार या अन्य जगह जा कर अर्जी लगाने और जूते घिसने की ज़रूरत नहीं है, वो केवल इस पोर्टल के माध्यम से ऑनलाइन ही घर बैठे अपनी भूमि के सभी रिकार्ड्स आसानी से देख सकता है। 
  4. इस पोर्टल के आने के बाद नागरिकों की बहुत समय की बचत भी हो रही है। 

UP Varasat Abhiyan 

राज्य सरकार उत्तर प्रदेश यूपी ने वरासत अभियान शुरू किया था, जिसके तहत खतौनी में विवादित उत्तराधिकार दर्ज किए थे। यह अभियान साल 2020 15 दिसंबर से साल 2021 के 15 फरवरी तक चला। यूपी वरासत अभियान को सफल बनाने के लिए राज्य सरकार द्वारा हेल्पलाइन और ईमेल पता भी स्थापित किया गया था। अभियान पूरा होने के बाद, सरकार द्वारा टीमों को यह सुनिश्चित करने के लिए जिलों में भेजा कि खतौनी में पंजीकरण के कारण निर्विवाद उत्तराधिकार के मामले नहीं हैं।

यूपी वरासत अभियान हेल्पलाइन

उत्तरप्रदेश सरकार ने अभियान के लिए हेल्पलाइन नंबर 0522-2620477 भी लाया। इस नंबर 1076 पर कभी भी संपर्क किया जा सकता है। आप अपनी सभी शिकायतें [email protected] पर ईमेल द्वारा भी दर्ज कर सकते हैं।

भूलेख खतौनी उत्तर प्रदेश जमाबंदी की नक़ल एवं खसरा खतौनी कैसे एवं कहाँ देखें?

इस लेख में हम नीचे आप एक-एक चरण बताएँगे जिसमें आपको यह बताएँगे की कैसे आप खसरा खतौनी की नक़ल देख सकते हैं। 

सबसे पहले आपको भूलेख खतौनी उत्तर प्रदेश द्वारा जारी आधिकारिक वेबसाइट पर जाना होगा, जो कुछ इस तरह की दिखती है। 

इसके बाद आपको कुछ ऐसे विकल्प नज़र आएंगे जिसमें से यदि आपको खसरा/खतौनी की नक़ल देखना है तो बटन को दबाएं। 

जिसके बाद एक और पेज खुलेगा जिसमें आपको captcha कोड (लिखा हुआ कोड उसी तरह से लिखना है), यह एक प्रकार का वेरिफिकेशन है जो माँगा जाता है। 

जैसे ही आप इस कोड को दाल देते हैं उसके तुरंत बाद ही एक नया पेज खुलता है जिसमें आपको अपनी कुछ जानकारी जैसे ग्राम, तहसील, जिला आदि डालकर आगे चुनना है।

चुनने की प्रक्रिया सरल है आपको सबसे पहले अपना जनपद चुनना होगा, उसके बाद अपना तहसील और फिर ग्राम चुनना होगा और उसके बाद आपको अपनी भूमि की जानकारी प्रदान करनी होगी आप चाहें तो खरा नंबर द्वारा, खातेदार के नाम द्वारा, खता संख्या द्वारा या नामांतरण द्वारा भी खोज सकते हैं।

अगर आपने अब तक सभी जानकारी सही-सही दर्ज की है तो आपको अंत में अपनी भूमि से जुड़ी सभी जानकारी आसानी से इस पोर्टल में ही मिल जाएगी। 

अब आपका सवाल हो सकता है की अगर आपको भूमि का नक्शा देखना है तो क्या वो इस पोर्टल में देख सकते हैं? तो इसका जवाब है, जी हाँ बिलकुल देख सकते हैं।

  1. आपको सबसे पहले वेबसाइट पर जाना होगा उसके बाद होम पेज खुलेगा जिसमें पहले के तरीके की तरह पहले जनपद फिर तहसील उसके बाद ग्राम चुनना होगा तो आपके द्वारा चुने हुए क्षेत्र का स्पष्ट नक्शा आपके सामने होगा। 
  2. फिर अगर आपको उसके खाताधारक का नाम पता करना है तो फॉर्म पर जाना होगा, जिसके बाद आपको एक खाता नंबर दिखाई देगा जिसके बाद आपको खाता धारक का नाम चुनना होगा। 
  3. इसके बाद अंत में आपके स्क्रीन पर यह नक्शा खुल जाएगा जिसके बाद आप चाहें तो नक़्शे को प्रिंट-आउट करके निकाल भी सकते हैं। 

यूपी भूलेख पर उपलब्ध कराए गए डाटा का उपयोग

यूपी भूलेख एक आधिकारिक पोर्टल है है जो भूमि के स्वामित्व की जानकारी देता है, ये रिकॉर्ड संपत्ति की बिक्री या खरीद के दौरान जमींदार के तथ्यों को मान्य करने के लिए महत्वपूर्ण हैं। 

इसके अलावा, जानकारी का उपयोग संपत्ति धोखाधड़ी से बचने के लिए किया जा सकता है क्योंकि पोर्टल (वेबसाइट) संपत्ति के वास्तविक मालिक, सटीक स्थान, भूमि के प्रकार, और ऋण, पट्टे, या रहने के आदेश जैसे किसी भी भार के बारे में जानकारी प्रदान करता है। 

जल्द ही साइट का उपयोग नाम या संपत्ति के प्रकार के परिवर्तनों की आधिकारिक स्थिति की जांच करने के लिए भी किया जा सकता है, साथ ही बिक्री विलेख पंजीकरण के बाद नए मालिक के नाम पर भूमि का नाम बदला गया है या नहीं। 

एक उत्परिवर्तन की स्थिति में, खरीदार गैरकानूनी बिक्री की जांच कर सकता है या यह सुनिश्चित कर सकता है कि भूमि पार्सल में तालाब (तालाब), ग्राम सभा (पंचायत) संपत्ति, चारागाह, या पट्टा भूमि जैसी गैर-हस्तांतरणीय भूमि शामिल नहीं है।

आप यूपी भूलेख की मुख्य वेबसाइट पर भूखंड (प्लॉट) की स्थिति के साथ-साथ भूखंड की बिक्री की स्थिति की जांच कर सकते हैं। ऐसे ही और जानकारी के लिए सम्पूर्ण जानकारी को फॉलो करके रखे और हमारी बाकी विषय जैसे बिज़नेस, मोबाइल ऐप्स, ज्ञान जिसमे आपको कम्प्यूटर ज्ञान, दुनिया का GK, बैंकिंग, भारत का GK, और शिक्षा जैसी विषयो पर हम बात करते है और आपको उसका पूरा ज्ञान देते है।

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